बहादुरगढ़ आज तक, विनोद कुमार
वैश्य बी एड कॉलेज में चल रहे एन एस एस के सात दिवसीय शिविर का समापन महाविद्यालय के प्रधान सत्यनारायण अग्रवाल के कर कमलों द्वारा सम्पन्न हुआ। कार्यक्रम की शुरुआत माँ सरस्वती के समक्ष द्वीप प्रज्ज्वलित कर व स्वयंसेविकाओं ने कत्थक नृत्य द्वारा उनका आशीर्वाद ले कर की गई। स्वयंसेविकाओं ने स्वागत गीत गाकर सभी अतिथियों का स्वागत किया। इस अवसर पर डॉ. बीनू त्रिपाठी ने भावी अध्यापिकाओ को मासिक धर्म चक्र के बारे में अवगत कराते हुए बताया कि महिला का मासिक धर्म चक्र 28 दिनों का होता है। कुछ महिलाओं का चक्र 29 से 35 दिनों तक का होता है, कुछ महिलाओं को सामान्य से कुछ कम दिन हो सकते हैं। पीरियड के दौरान एक महिला के शरीर में बहुत से शारीरिक परिवर्तन होते हैं। जब महिला की अवधि शुरू होती है तब शुरुआती दिनों में एस्ट्रोजन प्लमेट के स्तर और उसके प्रोजस्टेरोन के स्तर में वृद्धि होती है। एस्ट्रोजन सेरोटोनिन से जुड़ा होता है जो कि हैप्पी हार्मोन है। जबकि प्रोजेस्टेरोन मस्तिष्क के उस हिस्से से जुड़ा होता है जो डर, चिंता और अवसाद का कारण बनता है। इसलिए पीरियड्स के दौरान हार्मोन परिवर्तन महिलाओं की मनोदशा को प्रभावित करते हैं। उन्होंने विद्यार्थियों को बताया कि इस अवस्था में लड़कियों को पानी का अधिक सेवन, पोष्टिक आहार लेना चाहिए व स्वच्छता का अधिक ध्यान रखना चाहिए। अन्तर्राष्ट्रीय महिला दिवस के उपलक्ष्य में महाविद्यालय की प्राचार्य डॉ. आशा शर्मा, महाविद्यालय के प्रधान सत्यनारायण अग्रवाल, कोषाध्यक्ष शिव नारायण गुप्ता ने देवकरण धर्मशाला मे हस्तकला प्रदर्शनी के लिए आई महिला उद्यमियों व कारीगरी गुणवथी, विभु, राधिका वत्स, ममता त्रिपाठी, अर्चना पवार, उषा नेहरा, सुशीला, ललिता, मौसमी, कोमल गुप्ता, ज्योति, सुधा पुरी को माला, पटका, पुष्पगुच्छ, पौधा व स्मृति चिन्ह देकर सम्मानित किया। इस अवसर पर महाविद्यालय की प्राचार्या डॉ.आशा शर्मा ने कहा कि महिलाएं समाज का एक अहम हिस्सा रही हैं, जिसके बिना समाज की कल्पना नहीं की जा सकती है। महिलाओं को समानता का दर्जा प्राप्त हो, उन्हें भी हर क्षेत्र में बराबर का हक मिलें। वे अपने जीवन में एक साथ कई भूमिकाएं जैसे मां ,पत्नी ,बहन ,शिक्षक व दोस्त का रिश्ता बहुत ही खूबसूरती के साथ निभाती हैं। बढ़ते बच्चों को मां जीवन की सीख देती है तथा साथ ही उन्हें विपरीत हालातों व असफलताओं का सामना कर सफलता की सीढ़ी पर कदम रखना सिखाती हैं।
सत्यनारायण अग्रवाल ने सभी महिलाओं को अन्तरराष्ट्रीय महिला दिवस की बधाई देते हुए कहा कि ये दिन महिलाओं को समर्पित है। आज आर्थिक, सामाजिक, सांस्कृतिक, खेल हर क्षेत्र महिलाओं की उपलब्धियों से भरा हुआ है। उन्होंने महिलाओं की इन उपलब्धियों को सलाम करते हुए कहा कि इन दिन का मकसद महिलाओं के अधिकारों को लेकर जागरुकता फैलाना भी है ताकि उन्हें उनका हक मिल सके और वह पुरुषों के साथ कदम से कदम मिलाकर चल सकें। तत्पश्चात एनएसएस स्वयंसेविका सुरभि ने बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ पर मनमोहक नृत्य प्रस्तुत किया। तथा बी.एड प्रथम वर्ष की छात्राओ ने बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ पर लघु नाटिका प्रस्तुत की। इस दौरान छात्राओं को नशे का सेवन नहीं करने की शपथ दिलाई गई। एन एस एस के सात दिवसीय शिविर मे कविता को बेस्ट वालंटियर के ट्रॉफी से सम्मानित किया। इस अवसर पर इंटर्नशिप पर गई हुई द्वितीय वर्ष की भावी अध्यापिकाओ ने भी स्कूलों मे अन्तरराष्ट्रीय महिला दिवस का आयोजन किया।
शिविर के छठे दिन हुई रंगोली प्रतियोगिता में प्रथम स्थान पर कुमकुम, निकिता, ज्योति, द्वितीय स्थान पर भूमिका, मधु, रितु गोयल व मेघा, नीलम, प्रीति, तृतीय स्थान पर कविता, दीपिका, नीरज व लक्ष्मी,मोनिका, रिचा तथा सांत्वना पुरस्कार के लिए स्नेहा, मंजू, जैस्मिन व गीतिका, दीक्षा, पूर्णिमा व नीतू, शिवानी, पूजा शर्मा को नवाजा गया।
इस कार्यक्रम का आयोजन एन.एस.एस. क्लब द्वारा किया गया।